पॉजीटिव मरीज की पोस्ट से मची खलबली

शिवपुरी। खनियांधाना के जिस युवक को पॉजीटिव पाया गया है उसका एक वीडियो तो पहले से ही सनसनी फैलाए हुए था जिसमें उसने स्वास्थ्य महकमे पर आरोप लगाया था कि उसे खनियांधाना से शिवपुरी नहीं लाया जा रहा। उसके बाद उसे जिला अस्पताल ले जाया गया था, लेकिन जिला अस्पताल में आने के बाद समीर की फेसबुक पर की गई एक पोस्ट ने सनसनी फैला दी है। इस पोस्ट के साथ उसने वह फोटो भी टैेग किए हैं जो उस वार्ड के बताए जा रहे हैं जिसमें समीर को रखा गया है। फटे हुए गद्दे जिन पर चादर तक नहीं बिछी, ऐसे पलंग और शौचालय के टूटे हुए गेट तथा बाथरूम में भयानक गंदगी साफ नजर आ रही है। उसने लिखा है कि यह है जिला अस्पताल का कोरोना संक्रमण से बचाने वाला वार्ड जिसमें हमको रखा गया है। हम यहां नहीं रहना चाहते। इस पोस्ट को लेकर शहरभर में चर्चाओं का बाजार गर्म है।


कोरोना वायरस को लेकर जारी एडवाइजरी का पालन न करने वाले एक व्यक्ति के खिलाफ कोलारस थाने में एफआईआर दर्ज


कोलारस। अहमदाबाद से कोलारस लौट कर आए शैलेंद्र गिरी कोलारस के ग्राम गुरु कदवाया का रहने वाला है। इसके खिलाफ कोलारस में विभिन्ना धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की गई है। स्वास्थ विभाग के कर्मचारियों ने की रिपोर्ट दर्ज कराते हुए पुलिस को बताया कि इसने कोरोना वायरस को लेकर जारी एडवाइजरी का पालन नही किया। शैलेन्द्र गिरी अपने भाई कोलारस नगर के लोधी मोहल्ले में आकर रूका। उसको गुजरात से लौटने के बाद बुखार आया, लेकिन उसने इसकी सूचना ना ही कोलारस स्वास्थय विभाग को दी और ना ही पुलिस कंट्रोल रूम को दी।


दवा भरकर खड़े दो ट्रक, नहीं हो पा रही सप्लाई


शिवपुरी। शहर में कफ्युढ लगा है। नगर के दवा व्यवसायियों ने दवा की कमी पूरी करने के लिए इंदौर से दो ट्रक भरकर दवा मंगाई हैं। सेनेटाइजर सहित अन्य सामान मंगाया है, लेकिन गुरुवार की शाम तक दो दिन से शहर में खड़े दो ट्रकों की दवा थोक व्यापारियों के ठिकानों तक नहीं पहुंच सकी हैं। इसे लेकर मेडिकल एसोसिएशन ने जिला प्रशासन को पत्र भी भेज दिया है जिसमें लिखा है कि दवा वितरण की व्यवस्था कराई जाए। बावजूद इसके अब तक समस्या का हल नहीं निकला है। यदि जल्द ही दवा थोक व्यापारियों के गोदाम तक न पहुंची तो फुटकर दवाईयों की दुकानों पर दवा संकट गहरा सकता है। जहां एक ओर इंदौर से दो बड़े ट्रक दवा लेकर थोक व्यापारियों के यहां खाली होने खड़े हैं तो वहीं थोक व्यापारियों के ेयहां से फुटकर दुकानदारों तक माल डिलेवरी के लिए भी दो वाहनों की परमीशन दवा एसोसिएशन ने मांगी है, लेकिन उनकी सुनवाई खबर लिखे जाने तक नहीं हो सकी है।